छतरपुर। शहर के प्राचीन प्रताप सागर तालाब को लेकर एक बड़ा विवाद खड़ा हो गया है। दरअसल पूर्व विधायक नातीराजा ने इस तालाब को अपनी निजी और पैतृक संपत्ति बताते हुए कलेक्टर की जनसुनवाई में एक शिकायती पत्र देकर नगर पालिका द्वारा हाल ही में एक संस्था को दी गई जलक्रीड़ा (वॉटर स्पोर्ट्स) गतिविधियों की अनुमति को तत्काल निरस्त करने की मांग की है। पूर्व विधायक द्वारा तालाब को निजी संपत्ति बताए जाने का दावा और उनके द्वारा शिकायत किए जाने का अंदाज फिलहाल जिले में चर्चा का विषय बना हुआ है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार राजनगर के पूर्व विधायक विक्रम सिंह नातीराजा ने बीते रोज जनसुनवाई में एक आवेदन दिया। उक्त आवेदन में नातीराजा ने कहा है कि छतरपुर का प्राचीन प्रताप सागर तालाब उनके पूर्वजों की निजी संपत्ति है। उन्होंने नगर पालिका द्वारा हाल ही में पर्यटन को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से झांसी की संस्था मणिकर्णिका वाटर स्पोर्ट्स टूरिस्टी को जलक्रीड़ा गतिविधियों के लिए अनुबंध किए जाने पर आपत्ति जताई है। नातीराजा ने मांग की है कि इस अनुबंध और जलक्रीड़ा गतिविधियों को तुरंत निरस्त किया जाए। उल्लेखनीय है कि जिला पुरातत्व पर्यटन एवं संस्कृति परिषद द्वारा गत 19 सितंबर को लिए गए निर्णय के परिपेक्ष्य में, कलेक्टर पार्थ जैसवाल ने जिले में पर्यटन को बढ़ाने के लिए प्रायोगिक तौर पर तीन माह की अवधि के लिए विभिन्न शर्तों के अधीन जलक्रीड़ा गतिविधियों को अनुमति दी है। मध्यप्रदेश शासन की पर्यटन नीति 2016 के तहत जारी अधिसूचना के अनुसार, इस संस्था को 1 नवंबर 2025 से 31 जनवरी 2026 तक के लिए गतिविधियों की अभिस्वीकृति दी गई है, जिससे नगर पालिका छतरपुर को मनोरंजन शुल्क प्राप्त होगा।

