कार्यक्रम की जानकारी देते हुए बहन उषा ने बताया कि यह आयोजन भारत सरकार के सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय और ब्रह्माकुमारी संस्थान के बीच 1 अक्टूबर को हुए एमओयू के अंतर्गत किया गया है। इसका उद्देश्य समाज में यह संदेश फैलाना है कि बुजुर्ग हमारे समाज की फाउंडेशन हैं, जिनसे समाज सशक्त बनता है। उन्होंने कहा कि युवा पीढ़ी को जागरूक होकर अपने माता-पिता और वरिष्ठजनों का आदर-सम्मान करना चाहिए। सेवाकेंद्र प्रभारी बी.के. सुलेखा बहन ने कहा कि बुजुर्ग ही असली दौलत हैं, हमारे घर की शोभा हैं। उन्होंने कहा कि अक्सर लोग कहते हैं बुजुर्गों की सोच पुरानी है, लेकिन जितनी चीज पुरानी होती है, उतनी ही कीमती होती है। उनकी सोच अनुभवों की खान है, इसलिए उन्हें 'ओल्ड इज गोल्डÓ कहना ही उचित है। उन्होंने भावुक शब्दों में कहा पिता एक ऐसा क्रेडिट कार्ड है, जिसके पास बैलेंस न होते हुए भी वह अपने बच्चों के सपने पूरे करने की कोशिश करता है, और वही संतान कभी-कभी उसे वृद्धाश्रम पहुँचा देती है। उन्होंने सभी से अपील की कि बुजुर्ग अपने समय का उपयोग समाज सेवा, स्वचिंतन और परमात्म चिंतन में करें, तभी बुढ़ापा अभिशाप नहीं, वरदान सिद्ध होगा। कार्यक्रम के अंत में ध्यान-योग और प्रसाद वितरण के साथ समापन किया गया। सभी उपस्थित जनों ने बुजुर्गों को शुभकामनाएं और सम्मानपूर्वक अभिनंदन किया।
बुजुर्ग हमारे समाज की नींव हैं, उनका सम्मान ही सच्ची भारतीय संस्कृति: बी.के. सुलेखा बहन
10/30/2025 10:05:00 pm
लवकुशनगर। क्यों बोझ हो जाते हैं, वो झुके हुए कंधे, जिन पर चढ़कर कभी हम दुनिया देखा करते थे, इस भावपूर्ण पंक्ति के साथ प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय लवकुशनगर सेवा केंद्र में समाज सेवा प्रभाग के तत्वावधान में संगम गौरवपूर्ण वृद्धावस्था एवं सम्मानित जीवन विषय पर एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया।कार्यक्रम की शुरुआत दीप प्रज्वलन के साथ हुई। इसके बाद सभी बुजुर्गों का सम्मान तिलक, अर्पण और पुष्पमाला पहनाकर किया गया। उपस्थित वृद्ध जनों ने अपने जीवन के प्रेरणादायक अनुभव भी सभी के साथ साझा किए। इस अवसर पर बुंदेलखंड के प्रसिद्ध कीर्तन गायक मातादीन विश्वकर्मा, सेवानिवृत्त आरआई रामगोपाल भुर्जी, राजा कोमल सिंह, माखन बरानिया, सरमन सोनी सहित नगर के कई गणमान्य नागरिक और ब्रह्माकुमारी संस्थान से जुड़े भाई-बहन उपस्थित रहे।

